खराब होने लगा जल सत्याग्रहियों का स्वास्थ्य , आंदोलन जारी
खण्डवा , संजय चौबे । ग्राम कामनखेड़ा में चल रहे ओमकारेश्वर बांध प्रभावितों के जल सत्याग्रह का आज पांचवा दिन है। विस्थापितों ने भाई दूज का त्यौहार आज पानी में ही मनाया। महिलाओं ने पानी मे जाकर सत्याग्रहियों को तिलक लगाया। उल्लेखनीय है कि इसके पूर्व दीपावली का त्यौहार भी विस्थापितों ने पानी में ही मनाया था।
आज मांधाता विधायक नारायण पटेल सत्याग्रह स्थल पर पहुंचे और विस्थापितों से उनकी समस्याएं सुनी। नर्मदा बचाओ आंदोलन के प्रमुख आलोक अग्रवाल ने श्री पटेल को बताया कि लगभग 2000 विस्थापितों का पुनर्वास होना बाकी है और कानूनन जब तक पुनर्वास पूरा नहीं हो जाता बांध में पानी नहीं भरा जा सकता है। उन्होंने उनसे आग्रह किया है कि वह सरकार के समक्ष विस्थापितों की यह मांग रखें कि बांध का जलस्तर वापस 193 मीटर लाया जाए ताकि डूब क्षेत्र के तमाम गांव को परेशानियों से मुक्ति मिल सके और उसके बाद विस्थापितों के साथ संयुक्त प्रक्रिया चलाकर जल्द से जल्द समस्त पुनर्वास पूरा किया जाए। पुनर्वास पूरा होने के बाद ही बांध में पानी भरा जाए। विधायक श्री पटेल ने आश्वासन दिया कि वह तत्काल ही विस्थापितों की बात सरकार तक पहुंचाएंगे।
*खराब होने लगा जल सत्याग्रहियों का स्वास्थ्य*
पांच दिन लगातार पानी में रहने से जल सत्याग्रहियों का स्वास्थ्य खराब होना प्रारम्भ हो गया है मुख्य रूप से शरीर में दर्द व खुजली की समस्या हो रही है, धीरे धीरे खाल भी गल रही है।
सत्याग्रह को व्यापक समर्थन
जल सत्याग्रह को सभी ओर से व्यापक समर्थन मिल रहा है। आस पास के क्षेत्रों के साथ साथ अलग-अलग बांधों से समर्थन में लोग आ रहे हैं। खरगोन जिले के महेश्वर बांध प्रभावितों के एक समूह ने सत्याग्रह स्थल पहुंचकर अपना समर्थन व्यक्त किया। इसी प्रकार धार जिले के बरखेड़ा बांध क्षेत्र से भी बड़ी संख्या में लोगों ने सत्याग्रह स्थल पर पहुंचकर विस्थापितों के संघर्ष में शक्ति प्रदान की।